23 April
2014
10:08
- इंदु बाला सिंह
नौकरी
के लिए आप्लिकेशन देने मैं उस मिशन स्कूल
में गयी थी |
प्रिंसिपल
बाहर निकली और एक महिला से बात करने लगी |
उनके संवाद
मुझे अचंभित किये |
" मैडम
...मेरा आदमी दूसरी औरत रख लिया है ... कोर्ट में हमने तलाक के लिए अप्लाई किया है ... मेरी बेटी से मेरा
आदमी मिलने आये तो मिलने मत दीजियेगा | मैडम ..मैं झाड़ू बर्तन कर के अपना पेट
पालती हूं .... भाई के घर के बगल में घर ले कर रहती हूं .... " एक दुबली पतली
महिला कह रही थी |
" कोई
बात नहीं ..एडमिशन रजिस्टर में गार्जियन की जगंह तुम्हारा नाम लिख दिया जायेगा तो
तेरा आदमी न्कीन मिल पायेगा तेरी बेटी से | " प्रिंसिपल ने पल भर में समस्या
सुलझा दी |
कमजोर वर्ग भी
अंगरेजी माध्यम के स्कूलों में फीस दे कर
अपने बच्चे पढ़ाना पसंद करते हैं क्योंकि वहां पढ़ाई अच्छी होती है और गेट पर दरबान
बैठा रहता है |
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